उत्तरकाशी। पुरोला तहसील मुख्यालय के कोर्ट रोड पर उस समय अफरा-तफरी मच गई, जब एक लकड़ी के भवन में अचानक आग लग गई। आग लगने के कारण घर में रखा रसोई गैस सिलेंडर भी फट गया, जिससे आग और विकराल हो गई। भवन में किराए पर रहे 5 परिवार के सदस्यों ने किसी प्रकार भागकर जान बचाई।
जानकारी के अनुसार, सोमवार सुबह रामवीर सिंह के कोर्ट रोड स्थित लकड़ी के भवन में आग लग गई। सूचना मिलने पर मौके पर पहुंचे स्थानीय लोगों और फायर ब्रिगेड ने आग पर काबू पाया लेकिन तब तक घर में रखा सारा सामान राख हो गया। स्थानीय लोगों के अनुसार इस लकड़ी के भवन में पांच परिवार किराए पर रहते थे, जिनका सारा सामान जलकर राख हो गया है। वहीं, आग लगने के कारणों की पुलिस जांच कर रही है। साथ ही प्रशासन की ओर से पीड़ित परिवारों को फौरी तौर पर सहायता देने की कार्रवाई की जा रही है।
Category: उत्तरकाशी
लकड़ी से बने मकान में लगी आग, सारा सामान जला, पांच परिवार रहते थे किराये पर।
भागीरथी में गिरी कार, दो शिक्षक सवार थे, तलाश जारी।
उत्तरकाशी। जनपद की डुंडा तहसील के अंतर्गत देवीधार-रनाड़ी मोटर मार्ग पर हिटाणू के पास एक कार अनियंत्रित होकर भागीरथी में गिरी। बताया जा रहा है कि कार में दो शिक्षक सवार थे। हादसे की जानकारी मिलते ही रेस्क्यू टीम घटनास्थल पर पहुंची और उनकी तलाश में जुट गई है।
जानकारी के अनुसार बुद्धिलाल (39 वर्ष) पुत्र बरफू निवासी ग्राम डांग जुवा भलड़ियाना (टिहरी गढ़वाल) और बिजेंद्र जोशी (40 वर्ष) पुत्र द्वारिका प्रसाद ग्राम भेलुन्ता थाना लंबगांव (टिहरी गढ़वाल) डुंडा के मांजफ गांव से टिहरी की ओर जा रहे थे। इसी दौरान हिटाणू के पास कार अनियंत्रित हो गई और सीधे भागीरथी नदी में जा गिरी।कार सवार दोनों शिक्षकों का कुछ पता नहीं चल पाया है। सूचना के बाद मौके पर पहुंची रेस्क्यू टीम खोज बचाव में जुटी है। बचाव टीम में एनडीआरएफ, एसडीआरएफ, पुलिस और राजस्व टीम की खोजबीन में जुटी है ।सूचना के बाद रेस्क्यू टीम मौके पर पहुंची। टिहरी से जल पुलिस की टीम भी पहुंच रही है।
बारिस से बार-बार बंद हो रहे हैं हाइवे, यात्रियों को झेलनी पड़ रही हैं दिक्कतें।
उत्तरकाशी। बारिस के चलते गंगोत्री हाईवे पर नेतला व यमुनोत्री हाईवे पालीगाड के पास भारी मलबा आने के कारण बंद हो गया। इससे गंगोत्री व यमुनोत्री धाम की यात्रा पर जाने वाले यात्रियों को खासी परेशानी उठानी पड़ी। हालांकि पांच घंटे की मशक्कत के बाद दोनो हाईवे सुचारू हो गए थे।
प्रदेश में चारधाम यात्रा पर हाईकोर्ट की रोक हटने के बाद तीर्थ यात्रियों में खासा उत्साह देखने को मिल रहा है। दिन प्रतिदिन यात्रियों की संख्या में भी भारी इजाफा देखने को मिल रहा है। लेकिन बारिश यात्रियों की राह में मुस्किल में डाल रही है। मंगलवार को गंगोत्री व यमुनोत्री हाईवे पर भूस्खलन प्रभावित सक्रिय होने से यात्रियों को आवाजाही में दिक्कतों का सामना करना पड़ा।
गत रात्रि में हुई बारिश के कारण गंगोत्री हाईवे नेताला के पास यातायात के लिए बंद हो गया। नेताला में हाईवे पर भारी मात्रा में मलबा सड़क पर आ गया। जिससे हाईवे करीब पांच घटें तक बाधित रहा। मार्ग बंद होने की सूचना मिलते ही बीआरओ के मजदूर जेसीबी मशीन लेकर मौके पर पहुंचे और कड़ी मशक्कत के बाद हाईवे को यातायात के लिए बहाल किया।
स्यांसु पुल के पास झील में समाई मारुति कार
कर में सवार तीनो लोग लापता बताए जा रहे हैं। थाना थरासु से पुलिस टीम, एन डी आर एफ, एस डी आर एफ की टीम रवाना हो चुकी है। सूत्रों के अनुसार मारुति कर UK09A0446 स्यांसु पुल के पास अचानक अनियंत्रित होकर झील में समा गई । कार में सवार तीनो व्यक्ति व्यक्तियों की पहचान स्यांसु निवासी शीशपाल, सुनार गाँव निवासी सोनू, ल्वरका निवासी शेर सिंह के रूप में हुई है।
बारिस के चलते गंगोत्री हाइवे फिर बंद, मालवा हटाने का काम जारी।
उत्तरकाशी, 14 सितंबर। बारिश के चलते एक बार फिर गंगोत्री जाने वाला हाईवे ठप हो गया है। यहां राहत कार्य चल रहा है तो वहीं एक टनल निर्माण के कारण 22 सितंबर तक हाईवे पर रूट डायवर्ट किए जाने का प्लान बनाया गया है।
उत्तराखंड के पहाड़ी क्षेत्रों में भारी बारिश का कहर जारी है। ताज़ा समाचार के मुताबिक लगातार हो रही भारी बारिश के चलते उत्तरकाशी ज़िले में गंगोत्री हाईवे ठप हो गया है। यहां भूस्खलन के कारण चट्टानों के टुकड़े और मलबा सड़क पर गिर गया है, जिसे हटाने का काम शुरू कर दिया गया है। इससे पहले खबर यह थी कि बड़ेथी के पास 15 से 22 सितंबर तक इस गंगोत्री हाईवे पर वाहनों का आना जाना बंद कर दिया जाना था क्योंकि यहां एक महत्वपूर्ण निर्माण कार्य होना है।
बताया जा रहा है कि गंगोत्री हाईवे पर सुखी टॉप इलाके में भूस्खलन के चलते रास्ता बंद हो गया। उत्तरकाशी आपदा प्रबंधन अधिकारी देवेंद्र पटवाल के हवाले से कहा गया कि बॉर्डर रोड्स संगठन यानी बीआरओ की मदद से यहां रेस्क्यू करवाया जा रहा है और मलबा हटाने की कवायद शुरू कर दी गई है। खबर लिखे जाने तक यात्री और वाहन फंसे हुए थे, जबकि कुछ को दूसरे रास्ते लेने की हिदायत दी गई।
एक अन्य खबर में बताया गया कि बड़ेथी के पास चूंकि एक ओपन टनल का निर्माण किया जाना है। इसलिए 15 से 22 सितंबर के बीच यहां रास्ता बंद रहेगा। वास्तव में, करीब 9 साल पहले की आपदा के चलते यहां भूस्खलन क्षेत्र बन गया था, जिससे यह सड़क दुर्घटना के लिए आशंकित हो गई थी। इसके ट्रीटमेंट पर 29 करोड़ खर्च करने के बाद भी काम सफल नहीं हो सका था। अब यहां और 28 करोड़ की लागत से एक ओपन टनल बनवाई जा रही है, जिसकी लंबाई 310 मीटर की होगी. इस निर्माण के चलते वाहनों को मनेरा बाईपास से डायवर्ट किया जाएगा।
सिलक्यारा के पास उत्तरकाशी-गंगोत्री हाईवे बंद ,राजमार्ग को खोलने का प्रयास जारी।
उत्तरकाशी। उत्तराखंड में बारिश का कहर जारी है। ऐसे में अतिवृष्टि और भूस्खलन के कारण सिलक्यारा इलाके के पास उत्तरकाशी-गंगोत्री हाईवे बंद हो गया है। वहीं, बीआरओ की टीम मौके पर पहुंच चुकी है और टीम द्वारा राजमार्ग को खोलने का प्रयास किया जा रहा है। उत्तरकाशी आपदा प्रबंधन अधिकारी देवेंद्र पटवाल के बताया कि बीते दिन से जिले में रुक-रुककर बारिश हो रही है। ऐसे में सिल्क्यारा के पास पहाड़ी से मलबा गिरने के कारण उत्तरकाशी-गंगोत्री हाईवे बाधित हो गया है। बीआरओ की टीम राजमार्ग को खोलने में जुटी है। गौरतलब है कि, मौसम विज्ञान केंद्र देहरादून के पूर्वानुमान के मुताबिक आज प्रदेश के नैनीताल, चंपावत, पिथौरागढ़, बागेश्वर और पौड़ी जनपदों में कहीं-कहीं तीव्र बौछार के साथ भारी बारिश होने की संभावना जताई गई है। जिससे देखते हुए मौसम विभाग ने इन जिलों में येलो अलर्ट जारी किया है। वहीं, उच्चहिमालयी क्षेत्र में भी सीजन की पहली बर्फबारी हुई है। ऐसे में जनपद रुद्रप्रयाग स्थित केदारनाथ धाम का भी पुनर्निर्माण कार्य बीते दो तीन दिन से बंद है। केदारनाथ में भी बीते दिनों से लगातार बारिश जारी है, जिससे पुनर्निर्माण कार्य भी प्रभावित हुआ है।
उधर, बारिश के कारण बीते दिन टिहरी झील का जलस्तर बढ़ने से चिन्यालीसौड़ पुरानी जोगत रोड ब्लॉक मुख्यालय के पास सड़क का लगभग औ10 मीटर हिस्सा झील में समा गया है। सुरक्षा को देखते हुए इस मोटर मार्ग को पुलिस ने आवाजाही के लिए बंद करवा दिया है।