
उत्तराखंड
उत्तराखंड की विश्व प्रसिद्ध चारधाम यात्रा के लिए इस वर्ष भी पंजीकरण की व्यवस्था रहेगी। तीर्थयात्री, आनलाइन व आफलाइन दोनों माध्यम से पंजीकरण कर सकेंगे। खुशखबरी यह है कि प्रशासन ने बदरीनाथ व केदारनाथ धाम के लिए आनलाइन पंजीकरण खोल दिए हैं। जबकि गंगोत्री व यमुनोत्री के कपाट खुलने की तिथि विधिवत घोषित होने के बाद इन धामों के लिए आनलाइन पंजीकरण शुरू किया जाएगा।वर्ष 2013 की आपदा के बाद चारधाम यात्रा को लेकर सरकार ने कई बदलाव किए हैं। आपदा के बाद वर्ष 2016 में चारधाम यात्रा के लिए फोटो मैट्रिक पंजीकरण की व्यवस्था शुरू कर दी गई थी। वर्ष 2020 व 2021 में कोरोना महामारी के कारण चारधाम यात्रा प्रभावित रही।चारधाम यात्रा के लिए तीर्थयात्रियों के उत्साह का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि आनलाइन पंजीकरण खुलने के साथ ही पहले दिन शाम साढ़े पांच बजे तक 31565 तीर्थयात्री आनलाइन पंजीकरण करा चुके थे। जिसमें बदरीनाथ के लिए 14294 व केदारनाथ 17088 श्रद्धालुओं ने पंजीकरण कराए।इस वर्ष 25 अप्रैल को केदारनाथ व 27 अप्रैल को बदरीनाथ धाम के कपाट खुलने की तिथि निर्धारित हो चुकी है। जबकि गंगोत्री व यमुनोत्री धाम के कपाट खुलने की तिथि अभी अधिकारिक तौर पर घोषित नहीं की गई है।जबकि विगत वर्ष 2022 में रिकार्ड संख्या में तीर्थयात्री चारधाम यात्रा के लिए पहुंचे। विगत वर्ष भी चारधाम यात्रा के लिए आनलाइन व आफलाइन पंजीकरण की व्यवस्था की गई थी। इसके लिए उत्तराखंड टूरिज्म, देहरादून स्मार्ट सिटी पोर्टल तथा टूरिस्ट केयर उत्तराखंड की वेवसाइट पर आनलाइन पंजीकरण की व्यवस्था की गई है। आफलाइन पंजीकरण की व्यवस्था चारधाम यात्रा आरंभ होने से कुछ दिन पूर्व शुरू होगी।प्रशासन ने मंगलवार को फिलहाल बदरीनाथ व केदारनाथ धाम के लिए आनलाइन पंजीकरण के लिए वेबसाइट को खोल दिया है। पर्यटन विभाग के उप निदेशक वीएस गंगवार ने बताया कि गंगोत्री, यमुनोत्री व श्रीहेमकुंड साहिब धाम के कपाट खुलने की तिथि घोषित होने पर इन धामों के लिए भी आनलाइन पंजीकण खोल दिए जाएंगे। उन्होंने बताया कि इसके अलावा ऋषिकेश तथा यात्रा मार्गों पर पूर्व के वर्ष की भांति आफलाइन पंजीकरण की व्यवस्था की जाएगी।