विश्वविद्यालय अनुदान आयोग ने इस बाधा को हटा दिया ,अब कॉलेजों में दो कोर्स एक साथ करने की सुविधा मिलेगी

उत्तराखंड

कॉलेजों में विद्यार्थी अभी तक एक साथ दो कोर्स नहीं कर पाते थे। लेकिन विश्वविद्यालय अनुदान आयोग ने इस बाधा को हटा दिया है। ऐसे में छात्र-छात्राएं डुअल कोर्स मोड में पढ़ाई कर सकेंगे। इसमें विश्वविद्यालय में मान्य दो कोर्स साथ-साथ करने की सुविधा मिलेगी। यूजीसी की ओर से इस संबंध में गाइडलाइन जारी कर दी है।साथ ही प्रदेश सरकार और विश्वविद्यालयों को गाइडलाइन के अनुसार नियम तय करते हुए लागू कराने को कहा गया है। संस्थानों को इसी सत्र से व्यवस्था लागू करने की सुविधा भी दी गई है। यूजीसी की नई गाइडलाइन के अनुसार विद्यार्थियों को स्नातक की पढ़ाई अपनी सुविधा के अनुसार करने का विकल्प भी दिया गया है।इसमें छात्र कक्षा में आकर पढ़ाई करने, दूरस्थ शिक्षा पद्धति और ऑनलाइन माध्यम से पढ़ने का विकल्प चुन सकता है। लेकिन छात्र को सेमेस्टर शुरू होने से पहले पढ़ाई के माध्यम को लेकर स्थिति स्पष्ट करनी होगी। इससे दूरस्थ क्षेत्रों में रहने वाले विद्यार्थियों को फायदा होगा। साथ ही एकल मोड में पढ़ाई कराने वाले संस्थानों को मल्टी डिसिप्लनरी मोड में पढ़ाई करानी होगी। उत्तराखंड की बात करें तो यहां कुमाऊं विवि, उत्तराखंड मुक्त विवि सहित 10 राजकीय विश्वविद्यालय संचालित हो रहे हैं।साथ ही 21 प्राइवेट विश्वविद्यालय हैं। इधर, प्रदेश में इस साल से नई शिक्षा नीति लागू हो गई है। ऐसे में यूजीसी की नई गाइडलाइन आने के बाद कॉलेज और विश्वविद्यालयों के स्तर पर बने कई प्रकार के असमंजस साफ हो जाएंगे।

विश्वविद्यालय अनुदान आयोग की गाइडलाइन को लेकर शासन स्तर से जो निर्देश मिलेंगे उन्हीं के अनुसार क्रियान्वयन किया जाएगा। हालांकि अभी नई शिक्षा नीति को लागू कर दिया गया है।
गोविंद पाठक, सहायक निदेशक, उच्च शिक्षा

विवि में अगले सत्र से नई शिक्षा नीति लागू करने की योजना है। साथ ही यूजीसी की नई गाइडलाइन का भी पालन किया जाएगा। गाइडलाइन का अध्ययन करने के बाद योजना तैयार की जाएगी।
प्रो. ओपीएस नेगी, कुलपति, उत्तराखंड मुक्त विवि

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