पाठ्यक्रम का हिस्सा होगा आंदोलन का इतिहास,सीएम का एलान

उत्तराखंड

उत्तराखंड का सपना आंदोलनकारियों के बलिदान और उनके संघर्ष से ही साकार हो सका है। राज्य आंदोलनकारियों का यह बलिदान आने वाली पीढ़ी को याद रहे, इसके लिए उनके इतिहास को पाठ्यक्रम में शामिल किया जाएगा। यह घोषणा मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने राज्य स्थापना दिवस पर पुलिस लाइन में आयोजित रैतिक परेड में की। उन्होंने पर्यटन और प्रदेश के विकास को बढ़ावा देने के लिए मुख्यमंत्री चौपाल योजना समेत 11 और घोषणाएं कीं।मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य आंदोलनकारियों के सपने के अनुरूप राज्य के विकास के लिए सरकार कृत संकल्पित है। जल्द ही मुख्यमंत्री चौपाल कार्यक्रम शुरू किया जाएगा। यह योजना ‘हमारी सरकार-जनता के द्वार’ कार्यक्रम को धरातल पर उतारेगी। इससे पहले मुख्य अतिथि राज्यपाल ले.ज. (सेनि) गुरमीत सिंह ने पुलिस रैतिक परेड की सलामी ली। इसके बाद दस लोगों को पिछले और इस वर्ष के उत्तराखंड गौरव सम्मान भी दिए गए। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वर्ष 2015 में प्रभावी प्रशासन के लिए प्रो-एक्टिव गवर्नेंस एंड टाइमली इम्प्लीमेंटेशन का जो मंत्र दिया था, हमारी सरकार उसी को मूलमंत्र मानकर कार्य कर रही है।

घोषणाएं

राज्य की जीडीपी वर्ष 2027 तक दोगुनी की जाएगी। इसके लिए जल्द ही सलाहकार फर्म का चयन किया जाएगा। 
-इनामी बदमाशों को पकड़वाने वालों को पुरस्कृत किया जाएगा। इसके लिए पुलिस विभाग के अंतर्गत एक करोड़ का कोष गठित होगा। 
-ऊर्जा उत्पादन बढ़ाने के लिए निवेशकों को आकर्षित करने के लिए तीन माह के भीतर सरलीकृत लघु जल विद्युत नीति और सौर ऊर्जा नीति बनाई जाएगी। 
-विद्यालयी शिक्षा विभाग में इन्फ्रास्ट्रक्चर को दुरुस्त किया जाएगा। शिक्षा की गुणवत्ता बढ़ाने के लिए रूपांतरण कार्यक्रम के तहत प्रतिवर्ष 200 विद्यालयों को रूपांतरित किया जाएगा। 
-जम्मू-कश्मीर और हिमाचल प्रदेश की तर्ज पर उत्तराखंड में भी कम मूल्य वाली फसलों के स्थान पर उच्च मूल्य वाली फसलों को बढ़ावा दिया जाएगा। 
-प्रदेश में आगामी पांच वर्षों में दस हजार महिला और महिला समूहों को उद्यमी बनाने का लक्ष्य है। इसके तहत कोई भी महिला और महिला समूह ग्रामीण क्षेत्र में उद्योग लगा सकेगा।
-पर्यटन के क्षेत्र में निवेश को आकर्षित करने के लिए नई पर्यटन नीति तीन माह के भीतर बनाई जाएगी।
-राज्य में पशु पालकों को आर्थिक रूप से सशक्त बनाया जाएगा। इसके लिए राज्य पशु धन मिशन की शुरुआत की जाएगी।
-गौरा शक्ति एप जल्द लांच होगा। इसके माध्यम से महिलाएं ऑनलाइन पंजीकरण कर सकेंगी और पुलिस सुरक्षा के घेरे में आ जाएगी।
-राज्य के ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों के महिला स्वयं सहायता समूहों के उत्पादों की बेहतर मार्केटिंग के लिए ऑनलाइन प्लेटफार्म बनेगा।

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