दुग्ध संघ टिहरी को राहत की उम्मीद। काश्तकारों, कर्मचारियों और ट्रांसपोर्ट का करोड़ों का बकाया, 76 लाख की धनराशि का शासनादेश जारी।

टिहरी। पिछले कई सालों से करोड़ों के घाटे में चल रहे टिहरी गढ़वाल गढ़वाल दुग्ध संघ को राहत मिले की उम्मीद है। सरकार ने काश्तकारों का पिछला भुगतान करने के लिये 76 लाख जारी करने का शासनादेश किया है। उम्मीद है कि सालों से बकाया भुगतान काश्तकारों को मिलेगा। दरअसल टिहरी गढ़वाल दुग्ध उत्पादक सहकारी संघ करीव 3 करोड़ रूप्ये के घाटे में है। यंहा 1 करोड़ से अधिक काश्तकारों का बकाया है, वंही टांसपोर्ट को भी लाखों रूप्ये बकाया चल रहा है। इस संघ की आंचल डेरी में काम करने वाले कर्मचारियों को पिछले 40 महीने का वेतन भुगतान का अभी तक बाकी है, जिस कारण कर्मचारी भी वेतन न मिल पाने के कारण परेशान हैं। वंही काश्तकारों का दूध का पैसा न मिल पाने के कारण संघ को काश्तकारों ने दूध देना बन्द किया हुआ है। मौजूदा समय में यंहा करीव 200 लीटर दूध संघ को मिल पा रहा है। संघ के अध्यक्ष ने जल्दी की सरकार से धन उपलब्ध होने की उम्मीद जताई है।

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टिहरी झील महोत्सव के फाइनल डासिंग प्रतियोगिता के लिए 10 प्रतिभागीयों का हुआ चयन।

टिहरी-टिहरी झील महोत्सव 2021 में सांस्कृतिक कार्यक्रमों के तहत जनपद के प्रतिभाशाली युवाओं को विभिन्न प्रतीयोगिताओं में अवसर दिए जाने को लेकर शुक्रवार को तहसील स्तर पर डांसिंग ऑडिशन/प्रतियोगिता का आयोजन किया गया। जनपद की दो तहसील टिहरी व नरेंद्रनगर में आयोजित ऑडिशन में कुल 126 प्रतिभागी एकल व ग्रुप के रूप में शामिल हुए जिसमे दोनों आयोजन स्थल से 5-5 (कुल 10) उत्कृष्ट प्रतिभागियों का चयन किया गया। जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान (डाइट) में इशिता एंड ग्रुप, नीरज सजवाण, अनुष्का रावत, शिवांग एंड ग्रुप, कृतिका रावत ने क्रमशः प्रथम, द्वितीय, तृतीय, चतुर्थ व पंचम स्थान प्राप्त किया। इसी प्रकार टाउन हॉल नरेंद्रनगर में आयोजित डांसिंग प्रतियोगिता/ऑडिशन में गरिमा असवाल एंड ग्रुप, आकाशपाल एंड ग्रुप, प्रमिला एंड ग्रुप, सरस्वती व कृष्णा ने क्रमशः प्रथम, द्वितीय, तृतीय, चतुर्थ व पंचम स्थान प्राप्त किया। तहसील स्तर पर आयोजित सिंगिंग ऑडिशन में सफल प्रतिभागियों को 10 फरवरी को जिला स्तरीय ऑडिशन में प्रतिभाग करना होगा। जहां पर प्रथम तीन प्रतिभागियों के चयन टिहरी झील महोत्सव के लिए किया जाएगा।

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नगर पालिका टिहरी में शिविर का आयोजन,कई लोगों ने उठाया लाभ,ई ओ सजवाण ने कहा – आगे भी लगेंगे शिविर

नई टिहरी नगर पालिका में एक दिवसीय बहुउददेशीय शिविर का आयोजन किया गया। इस शिविर में समाज कल्याण विभाग, स्वास्थ्य विभाग, खाद्य आपूर्ति विभाग सहित तहसील से सम्बन्धित समस्याओं का समाधान किया गया। पालिका क्षेत्र के अन्तर्गत रहने वाले लोगों ने इस शिविर का लाभ उठाया। नगर पालिका के अधिशासी अधिकारी राजेन्द्र सिंह सजवाण ने कहा कि शिविर में समाज कल्याण विभाग से मिलने वाली पेशनों, राशन कार्ड से जुड़ी दिक्कतों, तहसील स्तरीय प्रमात्र पत्रों और स्वास्थ्य सम्बन्धी प्रमाण पत्रों के समाधान के लिये शिविर का आयोजन किया गया है। उन्होने कहा कि नगर पालिका क्षेत्र में एक ही जगह पर लोगों को सुविधा मिल सके, इसलिये इस शिविर का आयोजन किया गया है। ई ओ ने कहा कि पालिका समय समय पर इस प्रकार के शिविर लगायेगी, जिससे लोगों को आसानी हो सके।

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बोट संचालकों का नही हुआ भुगतान, पुनर्वास निदेशक व जिलाधिकारी से की भुगतान करने की मांग

टिहरी। टिहरी बांध की झील में डोवरा-चांठी पुल बनने से पूर्व फेरी बोट का संचालन किया जाता था। अब ये फेरी बन्द की गई हैं और बोट संचालक अपना पिछला बकाया भुगतान करने की मांग कर रहे हैं। बोट संचालकों को कहना है कि उनका पिछला भुगतान नही हो पाया, जो करीव एक करोड़ रूपये से अधिक है। दरअसल टिहरी बांध बनने के बाद से बांध प्रभावितों की आवाजाही के लिये पुनर्वास विभाग की तरफ से नाव चलाई जाती थी। इन्ही नावों से प्रभावित लोग झील के आर पार आवाजाही करते थे। इन वोटों का भुगतान टीएचडीसी द्वारा किया जाता था, लेकिन अब टीएचडीसी ने भुगतान करने से मना कर दिया है। वोट संचालकों ने टिहरी की जिलाधिकारी व पुनर्वास निदेशक इवा आशीष श्रीवास्तब से बकाया भुगतान देने की मांग की है, जिस पर डीएम ने जल्दी कार्यवाही की बात कही। डीएम ने कहा टीएचडीसी से बोट संचालकों का बकाया भुगतान देने को कहा जायेगा। बोट संचालक कुलदीप पंवार ने कहा कि भुगतान को लेकर कई बार पुनर्वास विभाग और प्रशासन से मांग की गई लेकिन कोई कार्यवाही नही हुई।

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300 मेगावाट की लखवाड़ बहुद्देशीय परियोजना को मिली पर्यावरणीय स्वीकृति

देहरादून। भारत सरकार के पर्यावरण, वन तथा जलवायु परिवर्तन मंत्रालय द्वारा देहरादून जनपद में यमुना नदी पर स्थित लखवाड़ बहुद्देशीय परियोजना की पर्यावरणीय स्वीकृति प्रदान कर दी गई है। परियोजना का विकास कार्य कर रहे उत्तराखंड सरकार के उपक्रम यूजेवीएन लिमिटेड के प्रबंध निदेशक श्री संदीप सिंघल ने जानकारी देते हुए बताया कि उत्तराखंड के माननीय मुख्यमंत्री श्री त्रिवेंद्र सिंह रावत जी द्वारा मंत्रालय स्तर पर तथा सचिव ऊर्जा श्रीमती राधिका झा द्वारा विभागीय स्तर पर भारत सरकार से निरंतर किए गए आग्रहों के फलस्वरुप लखवाड़ परियोजना की पर्यावरणीय स्वीकृति प्राप्त हुई है।
सचिव ऊर्जा एवं अध्यक्ष यूजेवीएन लिमिटेड श्रीमती राधिका झा ने विस्तृत जानकारी देते हुए बताया कि लखवाड़ जलविद्युत परियोजना उत्तराखंड ही नहीं संपूर्ण राष्ट्र के लिए महत्वपूर्ण है तथा इस परियोजना से छः राज्यों को सिंचाई एवं पेयजल आपूर्ति के साथ ही विद्युत उत्पादन भी किया जाएगा। इसीलिए इस बहुद्देशीय परियोजना को राष्ट्रीय परियोजना भी घोषित किया गया है। श्रीमती राधिका झा ने बताया कि परियोजना के निर्माण से 330 मिट्रिक क्युबिक मीटर अतिरिक्त जल की उपलब्धता होगी जिससे लाभान्वित होने वाले राज्यों में हरियाणा, राजस्थान, दिल्ली, उत्तर प्रदेश, हिमाचल प्रदेश तथा उत्तराखंड सम्मिलित हैं।
300 मेगावाट की इस परियोजना के क्रियान्वयन से उत्तराखंड को प्रतिवर्ष 572.54 मिलियन यूनिट विद्युत उत्पादन का लाभ प्राप्त होगा। इसके साथ ही यमुना नदी में जल की उपलब्धता भी बढ़ेगी जिससे नदी का संरक्षण एवं संवर्धन तो होगा ही साथ ही दिल्ली एवं राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र में यमुना नदी को पुनर्जीवन भी प्राप्त होगा।
लखवाड़ बहुद्देशीय परियोजना की अनुमानित लागत 5747.17 करोड़ रुपए है जिसमें से जल घटक के 4673.01 करोड़ रुपए के 90% का वहन भारत सरकार के वित्तीय सहयोग से किया जाएगा तथा शेष 10% का वहन लाभान्वित राज्यों द्वारा किया जाएगा।

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कांग्रेस ने किया केन्द्र सरकार का पुतला दहन, बजट पर जताई निराशा, जिलाध्यक्ष राकेश राणा ने कहा पूंजीपतियों का बजट

टिहरी।जिला कांग्रेस कमेटी टिहरी ने केंद्रीय बजट के विरोध और आंदोलनकारी किसानों के पक्ष में नई टिहरी चैराहे पर केंद्र सरकार का पुतला दहन किया। जिला कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष राकेश राणा ने कहा केंद्र सरकार ने कोविड-19 बीमारी के बाद अपना पहला बजट सदन के पटल में रखा जिसमें इस बजट से जनमानस को हताशा और निराशा हाथ लगी। उन्होने कहा कि यह बजट पूंजीपतियों का बजट है और इससे निजीकरण को और बढ़ावा मिलेगा । कांग्रेस के जिलाध्यक्ष ने कहा केंद्र सरकार ने गैर भाजपाई राज्यों के साथ सौतेला व्यवहार किया है। जहां एक ओर भाजपा डिजिटीलाइजेशन की बात करती है वहीं मोबाइल इलेक्ट्रॉनिक, सामान महंगा किया है। प्रत्येक साल दो करोड़ रोजगार देने की बात करने वाली भाजपा ने विभिन्न असंगठित क्षेत्रों से करोड़ों नौजवानों को बेरोजगार किया है। जिलाध्यक्ष राकेश राणा ने कहा कि जहां भाजपा कोरोनावायरस टीके का डंका बजा रही है वहीं वैक्सीन को मुफ्त में न लगाना सरकार की नाकामी है। प्रदेश कांग्रेस कमेटी सचिव विजय गुनसोला ने कहा रोजगार गारंटी में 2014 में 85 हजार करोड का बजट था उस में कटौती कर आज उसे 73 हजार करोड़ किया गया है यह भी गरीब मजदूरों के साथ अन्याय है ।
शहर कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष देवेंद्र नौटियाल ने कहा की किसानों की आय दोगुनी करने की बात करने वाली भाजपा ने किसी भी क्षेत्र में किसानों को राहत नहीं दी कुल मिला के हम यह कह सकते हैं कि यह बजट पूंजी पतियों को बढ़ावा देने वाला बजट है।
उपरोक्त कार्यक्रम में जिला कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष राकेश राणा शहर कांग्रेस कमेटी केअध्यक्ष देवेंद्र नोडियाल प्रदेश कांग्रेस के सचिव विजय गुनसोला, चंबा ब्लॉक कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष राजेंद्र प्रसाद डोभाल, महिला कांग्रेस की जिलाध्यक्ष दर्शन रावत, अनिता रावत, प्रदेश सचिव कौशल्या पांडे, मुर्तजा बेग, पूर्व प्रधान प्रदीप भट्ट ,मस्तराम डोभाल, अनीस खान, दीपक चमोली, धनीराम नौटियाल, किशोर ,पुरुषोत्तम थलवाल, आमित चमोली, विनोद लाल ,महेश कुमार ,आदि काँग्रेसजन उपस्थित थे।

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टिहरी में झील महोत्सव की तैयारियां तेज, 16 और 17 फरवरी को होगा महोत्सव, जल, थल और वायु में होंगी साहसिक खेल गतिविधियां

टिहरी। टिहरी झील के पास कोटी कालोनी में 2 दिवसीय लेक फेस्टीवल की तैयारियां शुरू हो चुकी हैं। 16 और 17 फरवरी को यंहा झील महोत्सव का आयोजन होगा, जिसमें पर्यटन और सांस्कृतिक गतिविधियां आयोजित की जायेंगी। इस दौरान झील में बोटिंग, जेटस्की, बनाना राइडिंग, सर्फिंग,क्याकिंग, केनोइंग, स्कूबा डाइविंग के अलावा पैराग्लाइडिंग, पैरामोटर और हाॅट एयर बलून की गतिविििधयां भी होंगी। टिहरी की डीएम इवा आशीष श्रीवास्तव ने कहा कि पर्यटकों के आकर्षण के लिये सांस्कृतिक गतिविधियों का भी आयोजन किया जायेगा, जिसमें स्थानीय कलाकारों के अलावा बालीवुड के कलाकारों को भी आमंत्रण दिया गया है। उन्होने कहा कि महोत्सव के दौरान विभिन्न प्रकार की प्रतियोगिताओं का आयोजन भी होगा, जिसमें गायन, पेंटिग और फोटोग्राफी भी शामिल हैं। डीएम ने कहा कि यंहा विभिन्न प्रकार के स्टाल और प्रदर्शनियां भी लगाई जायेंगी।

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नही रहे मेजर प्रेम राम डंगवाल , ग्यारह गांव-हिन्दाव के लिये अपूर्णीय क्षति , सामाजिक सरोकारों से था गहरा नाता

जो भरा नहीं है भावों से, बहती जिसमें रसधार नहीं ! वह हृदय नहीं है पत्थर है, जिसमें स्वदेश का प्यार नहीं!!

ये पंक्तियां राष्ट्रकवि मैथिलीशरण गुप्त ने लिखी हैं,आज यह पंक्तियां स्वर्गीय मेजर प्रेम राम डंगवाल जी (ठपतजी 1933-क्मंजी 28ध्01ध्2021) पर सटीक बैठती हैं। मेजर डंगवाल को हमेशा ही अपने गांव से प्यार था और वे चाहते थे कि मेरे गांव के लोग आगे बढ़े और गांव के विकास में प्रत्येक व्यक्ति अपने स्तर पर किसी न किसी प्रकार से कुछ न कुछ योगदान दे ,अखोड़ी गांव में मथया डंगवालों में स्वर्गीय शालिकराम डंगवाल जी की दो पुत्रियां- बड़ी लीलावती बहुगुणा तथा छोटी कलावती पैन्यूली परिवार में ब्याही हुई थी ,सालिक राम जी जी के 4 पुत्र थे सबसे बड़े पुत्र स्वर्गीय महेश्वर प्रसाद डंगवाल जो कि 20 -21 साल की उम्र में ही स्वर्गवासी हो गए थे दूसरे पुत्र स्वर्गीय कलीराम डंगवाल जी कानूनगो थे, तीसरे पुत्र स्वर्गीय मोतीराम डंगवाल जी पहले अध्यापक और बाद में उत्तर प्रदेश के स्वास्थ्य विभाग में रहे, सबसे छोटे पुत्र मेजर प्रेम राम डंगवाल थे , सभी बच्चों को शालिगराम जी ने मसूरी में पढ़ाया था इनका मसूरी में अपना व्यवसाय था और उस जमाने में यह अखोड़ी के अच्छे पैसे वाले व्यक्ति थे , इनके चारों पुत्र बहुत ही कुशाग्र बुद्धि के थे इन चारों के सुपुत्र भी सभी कुशाग्र बुद्धि के हैं और उनके बच्चे भी सभी कुशाग्र बुद्धि के हैं मेजर प्रेम राम डंगवाल ने 1958 में इंडियन आर्मी में कमीशन प्राप्त किया और 1962,1965 और 1971 की लड़ाई में भाग लिया तथा 1978 में सेना से मेजर पद से अवकाश ग्रहण किया, मेजर प्रेम राम डंगवाल जी की धर्मपत्नी चैरा गांव के साहूकार स्वर्गीय जगत राम तिवारी की सबसे बड़ी पुत्री श्रीमती पुष्पा हैं इनके 2 पुत्र श्री राजेंद्र प्रसाद और हरीश डंगवाल तथा तीन पुत्रियां अनु ,जया और सुधा हैं सभी शादीशुदा हैं और अपने- अपने परिवार में सुखमय जीवन व्यतीत कर रहे हैं श्री राजेंद्र डंगवाल औरंगाबाद में अपना व्यवसाय करते हैं जिसमें मुख्य रुप से टेनिस की कोचिंग और जवनतपेउ टूरिज्म से संबंधित कार्य है, श्री हरीश डंगवाल स्मॉल हाइड्रो पावर प्रोजेक्ट में सीईओ अर्थात डायरेक्टर के पद पर कार्यरत हैं ,मेजर प्रेम राम डंगवाल ने अवकाश ग्रहण करने के बाद औरंगाबाद महाराष्ट्र में जो कि मुंबई से लगभग 400 किलोमीटर उत्तर -पूर्व में है अपना घर बनवाया और वहीं पर रहने लगे सन् 1990 में मेजर साहब अखोड़ी आए और वहां पर रहने लगे परंतु कुछ ही महीनों बाद वापस औरंगाबाद चले गए 1991 में मैंने अपने गाँव के जो लोग अलग-अलग शहरों में रहते थे उन्हें अखोड़ी 22 डंल 1991में आमंत्रित किया सभी लोगों को मुंबई ,दिल्ली देहरादून ,ऋषिकेश, हरिद्वार मसूरी ,टिहरी, पौड़ी, श्रीनगर ,उत्तरकाशी चिन्यालीसौड़ ,रामनगर, कालागढ़,फरीदाबाद इत्यादि शहरों में लगभग 110 चिट्ठियां भेजी और अपने गांव के लोगों को गांव आमंत्रित किया मई 1991 में काफी लोग गांव आए भी और उस समय क्रिकेट, रस्साकशी ,बैडमिंटन और टेनिस जैसे खेलों का आयोजन किया गया जिसमें मेजर डंगवाल का भी बहुत ही जोशीला योगदान रहा ळप्ब्- ।ाीवतप में भी उनका योगदान रहा उन्होंने छोटे-छोटे बच्चों के साथ बैडमिंटन और टेनिस जैसे खेल खेले और इसके साथ ही जीआईसी ।ाीवतप में 7-8जी पीरियड में 11वीं और 12वीं के बच्चों को अंग्रेजी की भी शिक्षा दी जिससे बच्चों में भी आत्मविश्वास बढ़ा इसके साथ ही साथ मेजर साहब ने गांव में रॉयल इटालियन घास लगवाई जो कि काटने के बाद फिर 1 हफ्ते में काटने के लायक हो जाती थी, मेजर साहब ने वहां पर बुरांश के फूलों का जूस भी निकलवाया और युवा लड़कियोंऔर बहुओं को रोजगार देने की कोशिश की ताकि वह अपने पैरों पर खड़ी हो सके ,और उन्हें प्रत्येक दिन ₹50 प्रति सवालटा अपनी जेब से दिया ताकि यहां की महिलाओं की आर्थिक स्थिति मजबूत हो सके और वह अपनी जरूरी सामान के लिए किसी पर निर्भर न रहें बुरांश का जूस उस समय कुछ प्रचलित तो हुआ परंतु इसमें लागत भी नहीं आयी मेजर साहब को यह काम भी बंद करना पड़ा गांव के लोगों का भी कोई खास सहयोग नहीं मिला इसके बाद मेजर साहब ने फूलों की खेती करनी शुरू की इसके पीछे भी मेजर साहब का मन था कि यहां के फूल दिल्ली -देहरादून, हरिद्वार और ऋषिकेश तक जाएंगे परंतु इस कार्य में भी इन्हें सफलता नहीं मिली लेकिन अखोड़ी में उस दौरान चारों तरफ कई किस्म के फूल खिलते थे जिनमें से कुछ तो लोगों ने पहली बार देखे थे इसके अलावा मेजर साहब ने सोंप की पैदावार भी करने की कोशिश की, परंतु इसमें भी उन्हें कोई खास सफलता नहीं मिली ,मेजर साहब ने गांव में फल (फ्रूट प्रिजर्वेशन) का भी लड़कियों को और महिलाओं को प्रशिक्षण दिया परंतु उसमें भी गांव के लोगों ने बहुत ज्यादा दिलचस्पी नहीं दिखाई इसके बाद मेजर साहब ने गांव में जर्सी गाय लाकर दूध का व्यवसाय लोगों से कराना चाहा ताकि लोग दूध जैसे व्यवसाय से जुड़े और खुद के साथ-साथ बाजार में भी दूध उपलब्ध कराएं यहां पर भी मेजर साहब ने बैंक से लोन लिया और ढुंग नदी (गाड )के नीचे कमरा बना कर वहां पर गाय रखी और कई लोगों को रोजगार दिलाया परंतु उस पर भी लोगों ने मन लगाकर काम नहीं किया और वह भी घाटे में चला गया मेजर साहब ने अपनी पेंशन से ₹5000 प्रति माह बैंक का लोन वापस किया धन्य है यह व्यक्ति जिसने गांव के विकास के लिए हर प्रयत्न किए परंतु उन्हें कोई बहुत ज्यादा सहयोग नहीं मिला सबसे ज्यादा सहयोग उन्हें प्रिंसिपल श्री महावीर प्रसाद बडोनी जी से मिला तथा उस समय के अवकाश प्राप्त अध्यापक अध्यापकों जैसे श्री पुरुषोत्तम डंगवाल श्री शेर सिंह मेहरा श्री बालकृष्ण बडोनी एवं अन्य कुछ और लोगों से भी इन्हें थोड़ा बहुत सहयोग मिलता रहा परंतु जिस तरह का उस समय सहयोग चाहिए था वह नहीं मिला और सभी कार्य कुछ ही समय बाद उन्हें बंद करने पड़े जबकि लगभग सभी कार्य गांव के विकास के लिए ही थे और गांव के लोगों की आर्थिक स्थिति अच्छी हो इसके लिए थे परंतु बड़ा खेद होता है कि अपनी जेब से पैसा लगाने के बावजूद भी लोगों ने उनके इन प्रयासों को सराहा नहीं है और नहीं उनमें योगदान दिया है मेजर प्रेम राम डंगवाल जी का सबसे बड़ा योगदान कोटी सड़क पुल निर्माण में है क्योंकि यहां पर लोहे का सामान तो आ गया था परंतु पुल नहीं बन पा रहा था इसके लिए मेजर साहब ने च्ॅक् के सुपरिटेंडेंट इंजीनियर और चीफ इंजीनियर के साथ कई बार मीटिंग की और डिस्ट्रिक्ट मजिस्ट्रेट टेहरी को भी बार बार मिलकर स्थिति से अवगत कराया और कई बार अपने पैसे खर्च नहीं मानी दो – तीन बार तो उस समय लखनऊ तक भी गए इन सब कार्यों के लिए मेजर डंगवाल ने कभी किसी से न तो एक पैसा लिया और न ही किसी से किसी और इन्हीं का प्रयास रहा कि इन्होंने ही 1991 में सहज- सहयोग नाम से एक आंदोलन चलाया जिसमें बजयाल गांव ,ढूंग,करखेड़ी, चोंरा ,कोट ,अखोड़ी, दुबड़ी बडियारकुड़ा ,खसेती, डांग भेटी ,पाख, दोणी, आदि गांव के लोगों ( विशेष कर प्रधानों तथा भूतपूर्व सैनिकों) ने सड़क पर श्रमदान किया और कोटी से ।ाीवतप सड़क बनाने में अपना महत्वपूर्ण योगदान दिया ,उस समय मेजर डंगवाल पट्टी 11 गांव भ्पदकंू के एक सर्वमान्य व्यक्ति थे जिनका सब सम्मान करते थे मेजर प्रेम राम डंगवाल ने 1990 से सन 2010 तक उस क्षेत्र के विकास के लिए अपना सब कुछ न्योछावर किया परंतु हम लोगों ने उन्हें उतना सम्मान नहीं दिया जिसके वह हकदार थे ,डंरवत साहब ने अगस्त ,2008 में ।ाीवतप सीट से जिला पंचायत का चुनाव भी लड़ा परन्तु सफलता हाथ नहीं लगी, ।ाीवतप गाँव से उस समय,3 उम्मीदवार हो गये थे श्री वासुदेव नेगी ,श्री प्रेम सिंह कठैत और मेजर साहिब तीनों ही चुनाव हार गये थे, वे चाहते थे कि वहां के बच्चे अच्छी नौकरी करें और ईमानदार और देशभक्त नागरिक बने तथा हर व्यक्ति अपने -अपने गांव के विकास में किसी न किसी प्रकार का योगदान दें ताकि गांव का सर्वांगीण विकास हो ,मेजर डंगवाल ने
अपने जीवन में कभी भी शराब और सिगरेट नहीं पिया वह हमेशा सादा जीवन व्यतीत करते थे इसके अलावा वे चाहते थे कि गांव का हर व्यक्ति शराब के सेवन से दूर रहे व सिगरेट न पिये, जब मेजर साहब इंडियन आर्मी में, 1958 में ऑफिसर बने तो उन्होंने पूरे इलाके में ।ाीवतप गाँव का नाम रोशन किया, मेजर क्ंदहूंस ।ाीवतप गाँव के पहले ऑफिसर थे, आज हम सबको इनके जाने का दुःख है, ईश्वर से प्रार्थना करता हूं कि मेजर साहब हमेशा भगवान ’श्री ’के चरणों में रहें और भगवान उनकी आत्मा को शांति प्रदान करें तथा उनके पांचों बच्चों और उनकी पत्नी को भगवान हमेशा खुश रखे और मेजर साहब के अच्छे कार्यों के फल भगवान उनके बच्चों की खुशियों में लगा दे ,ऐसी मेरी प्रभु से प्रार्थना है ,मैं स्वयं आज बहुत आहत हुआ हूं मैंने कई बार मेजर साहब को फोन करने की कोशिश की परंतु फोन पर बात नहीं कर पाते थे लेकिन मैं प्रिंसिपल श्री बडोनी जी से उनके बारे में रोज हालचाल पूछता रहता था मेरी आखरी फोन पर उनसे तब बात हुई थी जब वे (।प्प्डै) -ऋषिकेश में थे मेजर साहब 1991 ,1996 , व 1997 मैं मेरे घर दिल्ली में आए थे और मेरे बच्चों के साथ उस समय भी उन्होंने बैडमिंटन खेला था मेजर साहब जैसा सच्चा- ईमानदार और जीवट इंसान मैंने अपने जीवन में नहीं देखा है ईश्वर से प्रार्थना है कि मेरे गांव में हर बच्चा मेजर साहब जैसा बने और कम से कम युवा पीढ़ी तो मेजर साहब के पद चिन्हों पर चले ताकि हमारा गांव तरक्की करे और मेजर साहब की आत्मा को शांति मिले। ।ाीवतप के हर बच्चे को मेजर साहिब के किये हुये कार्यों को बताना चाहिये ताकि उनके जीवन से कुछ सीख मिल सके, देह त्यागने से पूर्व भी उन्होंने ।ाीवतप के चार लोगों को रोजगार दे रखा था, जो कि किसी बड़े शहर से कम न था, वे त्े 15000, 13000, 12000 व 2000 त्े हर महीने पर उन्होंने अपने घर परिवार पर रखे थे, उन्होंने उनको दोपहर का भोजन भी दिया तथा चंल हमेशा टाइम से पहले ही देते थे ऐसे सच के साथ जीने वाले महान आत्मा को मेरा हृदय की गहराइयों से प्रणाम। साभार – डॉ केदारसिंह ,दिल्ली

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टिहरी में भी धूमधाम से मना गणतंत्र दिवस, मुख्य अतिथि कृषि मंत्री सुवोध उनियाल ने किया धजारोहण

टिहरी। टिहरी में भी 72 वां गणतत्रं दिवस धूमधाम से मनाया गया। जिले के विभिन्न कार्यालयों में राष्ट्रीय ध्वज तिरंगा फहराया गया। नई टिहरी के पीआईसी मैदान में सार्वजनिक तौर पर गणतंत्र दिवस का कार्यक्रम आयोजित किया गया। कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि पंहुचे राज्य के कृषि मंत्री सुवोध अनियाल ने ध्वजारोहण किया और परेड की सलामी ली। मुख्य अतिथ सुवोध उनियाल ने जनपद वासियों को देश के संविधान का अनुपालन करने की शपथ दिलाई। उन्होने शहीदों को नमन करते हुये कहा कि देश के लिये मर मिटने वाले शहीदों के सपने साकार करने के लिये सभी को जिम्मेदारी निभानी होगी। मंत्री सुवोध अनियाल ने कहा कि देश कारोना की जंग जीतने की ओर अग्रसर है, हमारे देश के वैज्ञानिकों पर गर्व है और पूरी दुनिया में संदेश पंहुचा है। समारोह में विभिन्न क्षेत्रों में उत्कृष्ठ काम करने वाले लोगों को सम्मानित भी किया गया। इस दौरान मंत्री ने विभिन्न विभागों द्वारा लगाये गये स्टालों का अवलोकन भी किया।

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गुलदार की खाल समेत एक को दबोचा, टिहरी पुलिस की एसओजी टीम को मिली सफलता, वन्य जीव संरक्षण अधिनियम के तहत मुकदमा दर्ज

टिहरी। टिहरी पुलिस ने वन्य जीव तस्करी के मामले में एक बड़ी कामयाबी हासिल की है। पुलिस की एसओजी टीम ने तस्कर को गुलदार की खाल के साथ धर दबोचा। एसओजी टीम ने गुलदार की खाल को बेचने ले जाते वक्त पकड़ा है। पकड़ी गई खाल की कीमत 10 लाख रूपये बताई जा रही है। टिहरी की एसएसपी तृपित भटट ने बताया कि थाना मुनि की रेती के अन्तर्गत तस्करी के सम्बन्ध में सूचना होने पर एसओजी टीम ने गरूड़चटटी पुल के पास एक 55 वर्षीय व्यक्ति को पकड़ा है, प्रकाश नाम का यह व्यक्ति पौड़ी जिले के भूखंडी गांव का रहने वाला है। एसओजी प्रभारी द्वारा इसकी सूचना वन विभाग को दी गई। गुलदार की खाल बरामद होने पर भारतीय वन्य जीव संरक्षण अधिनियम के तहत थाना मुनिकीरेती में मुकदमा दर्ज कराया गया है। एसएसपी तृप्ति ने कहा कि पुलिस लगातार मादक पधार्थो, वन्य जीव तस्करी सहित अवैध शराव के खिलाफ अभियान चला रही है, जिसमें काफी सफलताये मिल रही हैं।

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